वाशिंगटन। अमेरिका के रक्षा मंत्री लॉयड ऑस्टिन ने बुधवार को सांसदों से कहा कि भारत और अमेरिका के बीच भारतीय वायु सेना के लिए मिलकर लड़ाकू विमान इंजन बनाने के संबंध में जो समझौता हुआ है, वह क्रांतिकारी है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पिछले वर्ष जून में अमेरिका की आधिकारिक यात्रा पर गए थे और उसी दौरान इस ऐतिहासिक समझौते की घोषणा की गई थी।
‘जनरल इलेक्ट्रिक’ ने भारत में एफ-414 लडाकू विमान इंजन के सह उत्पादन के लिए ‘हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स’ के साथ एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए हैं।
समझौते की शर्तों के अनुसार, जीई एयरोस्पेस के एफ414 इंजन का भारत में सह-निर्माण किया जाएगा और इससे तेजस हल्के लड़ाकू विमान एमके2 को और शक्तिशाली बनाया जा सकेगा।
ऑस्टिन ने सदन विनियोग उपसमिति को बताया कि अमेरिका के भारत के साथ ”बेहतरीन संबंध” हैं।
उन्होंने कहा, ”हमने हाल में भारत को विमान का इंजन बनाने में मदद की और यह एक तरह की क्रांति है। इससे उनकी क्षमता बढ़ेगी। हम भारत के साथ मिलकर एक बख्तरबंद वाहन का भी निर्माण कर रहे हैं।”
रक्षा मंत्री ने कहा, ”अगर कुल मिला कर देखा जाए तो यह सब लंबे वक्त में क्षेत्र में हुए काम से काफी अधिक है ।”