नई दिल्ली :देश विदेश में नागरी लिपि का प्रचार प्रसार करने वाली प्रतिनिधि संस्था नागरी लिपि परिषद अपनी स्थापना की स्वर्ण जयंती के अवसर पर दिल्ली विश्वविद्यालय के श्यामा प्रसाद मुखर्जी महिला महाविद्यालय में 17 अगस्त को राष्ट्रीय नागरी लिपि संगोष्ठी का आयोजन कर रही है। परिषद के महामंत्री डॉ हरिसिंह ने एक आभासी प्रेसवार्ता में बताया कि इस राष्ट्रीय संगोष्ठी में केंद्रीय हिंदी संस्थान आगरा और केंद्रीय हिंदी निदेशालय शिक्षा मंत्रालय, भारत सरकार के निदेशक डॉ सुनील बाबुराव कुलकर्णी मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहेंगे। पूर्व कुलपति और नागरी लिपि परिषद के अध्यक्ष डॉ प्रेमचंद पातंजलि की अध्यक्षता में इंदिरा गांधी राष्ट्रीय मुक्त विश्वविद्यालय के समकुलपति डॉ किरण हजारिका और फिजी में रहे पूर्व राजनयिक एवं प्रख्यात भाषाविद डॉ विमलेश कांति वर्मा अतिविशिष्ट अतिथि के रूप अपने विचार व्यक्त करेंगे।
इस संगोष्ठी में श्यामा प्रसाद मुखर्जी महिला महाविद्यालय की प्राचार्या डॉ साधना शर्मा स्वागत भाषण प्रस्तुत करेंगी। नागरी अध्येता डॉ रश्मि चौबे के संचालन में स्वास्थ्य मंत्रालय की हिंदी सलाहकार समिति के सदस्य श्री वीरेन्द्र कुमार यादव, वैज्ञानिक एवं तकनीकी शब्दावली आयोग के पूर्व उपनिदेशक श्री उमाकांत खुबालकर, केंद्रीय हिंदी निदेशालय के पूर्व उपनिदेशक डॉ भगवती प्रसाद निदारिया, आथर्स गिल्ड आफ़ इंडिया के महासचिव डॉ शिवशंकर अवस्थी,आकाशवाणी के पूर्व अधिकारी श्री अरुण कुमार पासवान, दूरदर्शन केन्द्र श्रीनगर के पूर्व अधिकारी डॉ अजय कुमार ओझा भी अपने विचार प्रकट करेंगे।
नराकास(उपक्रम) गाजियाबाद के सदस्य सचिव श्री ललित भूषण सूचना प्रौद्योगिकी में नागरी लिपि की स्थिति पर अपना पीपीटी व्याख्यान प्रस्तुत करेंगे। संगोष्ठी में नागरी लिपि परिषद से जुड़े कुछ लेखकों की सद्य प्रकाशित पुस्तकों के लोकार्पण और बुजुर्ग नागरी सेवियों को नागरी सम्मान प्रदान किए जाएंगे।