श्रीनगर। जम्मू- कश्मीर के मुख्य मौलवी एवं हुर्रियत कांफ्रेंस के अध्यक्ष मीरवाइज उमर
फारूक को पुलिस ने शुक्रवार को जुमे की नमाज के लिए उनके आवास से निकलने से रोक दिया।
जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा समाप्त किए जाने के बाद मीरवाइज के पुराने शहर के बीचों-बीच स्थित ऐतिहासिक
जामिया मस्जिद में पहले शुक्रवार को संबोधन करने की उम्मीद थी।
मीरवाइज मंजिल ने एक ट्वीट में कहा,“मीरवाइज उमर फारूक को भारतीय सुरक्षा बलों के एक दल द्वारा अपना
आवास छोड़ने से रोक दिया गया है। राज्यपाल के ‘स्वतंत्र’ होने की घोषणा करने के एक हफ्ते बाद ही वह आज
जामिया मस्जिद में शुक्रवार का संबोधन करने जा रहे थे।”
जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने ठीक एक सप्ताह पहले मीरवाइज को आजाद व्यक्ति कहा था।
प्रत्यक्षदर्शियों ने कहा कि मीरवाइज को पुलिस ने श्रीनगर में उनके नगीन आवास से गिरफ्तार किया और उन्हें घर
से बाहर नहीं निकलने दिया गया।
मीरवाइज ने पुलिस को बताया कि जम्मू-कश्मीर के सर्वोच्च अधिकारी उपराज्यपाल ने दावा किया है कि वह एक
स्वतंत्र व्यक्ति हैं, तो उन्हें जामिया मस्जिद में जुमे की नमाज अदा करने से क्यों रोका जा रहा है।
श्री सिन्हा ने पिछले शुक्रवार को कहा था कि मीरवाइज फारूक नजरबंद नहीं हैं। श्री सिन्हा के दावे पर हालांकि
मुख्यधारा और अलगाववादी दोनों खेमों ने कड़ी प्रतिक्रिया दी।
मीरवाइज फारूक कई अलगाववादी और मुख्यधारा के नेताओं में से एक हैं जिन्हें केंद्र द्वारा 2019 में जम्मू-कश्मीर
का विशेष दर्जा समाप्त करने से एक दिन पहले हिरासत में लिया गया था।
जामिया मस्जिद में कड़ी सुरक्षा के बीच आज जुमे की नमाज अदा की गई।