मेलबर्न। विश्व के नंबर एक खिलाड़ी रफाएल नडाल और नंबर तीन खिलाड़ी ग्रिगोर दिमित्रोव ऑस्ट्रेलियन ओपन से बाहर हो गए। नडाल को मारिन सिलिच ने शिकस्त दी। वहीं, दिमित्रोव को ब्रिटेन के काइल एडमंड के खिलाफ हार का सामना करना पड़ा। सिलिच के खिलाफ उतरे नडाल को पांचवे सेट के दौरान मांसपेशियों में खिंचाव के कारण फिजिशियन की मदद लेनी पड़ी, जिसके बाद उन्हें मैच को बीच में ही छोड़ना पड़ा।
हालांकि, उनके अब तक के 264 ग्रैंडस्लैम मैचों में ऐसा दूसरी बार है, जब उन्हें मैच से रिटायर होना पड़ा। इससे पहले 2010 में भी वह घुटने की चोट के कारण एंडी मरे के खिलाफ ऑस्ट्रेलियन ओपन से रिटायर हो गए थे। हालांकि, वह रिटायर होने से पहले अपनी लय में भी नहीं दिख रहे थे।
छठवें नंबर के खिलाड़ी सिलिच और नडाल में मुकाबला 6-3, 3-6, 7-5, 2-6 से बराबरी पर था, लेकिन पांचवे सेट में दो गेम जीतकर सिलिच बढ़त बनाए थे। सिलिच का सेमीफाइनल में अब काइल एडमंड से मुकाबला होगा।
छह बार के ऑस्ट्रेलियन ओपन विजेता नोवाक जोकोविच के टूर्नामेंट से बाहर होने के बाद खिताब की मजबूत दावेदारी पेश करने वाले तीसरी वरीय बुल्गारिया के दिमित्रोव को 49वीं वरीय ब्रिटेन के एडमंड ने उलटफेर का शिकार बनाया। काइल ने बुल्गारियन खिलाड़ी को 6-4, 3-6, 6-3, 6-4 से हराकर इतिहास रच दिया।
काइल ओपन एरा में अंतिम चार में पहुंचने वाले छठे ब्रिटिश खिलाड़ी बन गए हैं। क्वार्टर फाइनल में जब तीसरी वरीय दिमित्रोव गैर वरीय काइल के सामने उतरे तो अंदाजा कुछ ओर ही लगाया जा रहा था। माना जा रहा था कि दिमित्रोव प्री क्वार्टर के अपने प्रदर्शन में सुधार ला पाएंगे और मैच को जल्द ही खत्म कर देंगे।
मालूम हो कि प्री क्वार्टर फाइनल में दिमित्रोव ने 17वीं वरीयता प्राप्त निक किर्गियोस को 7-6, 7-6, 4-6, 7-6 से हराया था, लेकिन क्वार्टर फाइनल में वह अपने प्रदर्शन को दोहराने में असफल रहे। पहले सेट से ही काइल ने अपना इरादा जता दिया था कि वह किसी भी कीमत पर बुल्गारियन खिलाड़ी को आसानी से और सीधे सेटों में नहीं जीतने देंगे। इससे पहले काइल ऑस्ट्रेलियन ओपन में कभी भी दूसरे राउंड से आगे नहीं पहुंच पाए थे।
फेडरर का रास्ता साफ-
ऑस्ट्रेलियन ओपन में दो दिग्गज नोवाक जोकोविक और राफेल नडाल के बाहर होने के बाद अब स्विट्जरलैंड के रोजर फेडरर के खिताब जीतने की राह आसान हो गई है। नडाल जहां क्वार्टर फाइनल में हारे, वहीं जोकोविक को अंतिम-16 में हार का सामना करना पड़ा था। क्वार्टर फाइनल में फेडरर को बुधवार को थॉमस बर्डिच से सामना करना है।
महिलाओं में स्वितोलिना बाहर-
विश्व की 37वें नंबर की खिलाड़ी बेल्जियम की एलिस मार्टेंस ने खिताब की दावेदार मानी जा रही चौथे नंबर की खिलाड़ी यूक्रेन की एलीना स्वितोलिना को मात्र 73 मिनट में ही बाहर का रास्ता दिखाकर महिला सिंगल्स के सेमीफाइनल में प्रवेश कर लिया।
पहली बार ऑस्ट्रेलियन ओपन में उतरी मार्टेंस ने पहली ही कोशिश में सेमीफाइनल में जगह बनाई। बेल्जियम की खिलाड़ी ने चौथी वरीयता प्राप्त स्वितोलिना को सीधे सेटो में 6-4, 6-0 से हराकर सभी को चौंका दिया। ऐसा पहली बार हुआ है जब 22 साल की इस खिलाड़ी ने शीर्ष पांच के किसी खिलाड़ी को हराया।
बोपन्ना-बाबोस क्वार्टर फाइनल में-
भारत के दिग्गज टेनिस खिलाड़ी रोहन बोपन्ना और उनकी जोड़ीदार हंगरी की टिमिया बाबोस ने मिक्स्ड डबल्स के क्वार्टर फाइनल में प्रवेश कर लिया। बोपन्ना-बाबोस की जोड़ी ने मंगलवार को दूसरे दौर में अमेरिका की वानिया किंग और क्रोएशिया के फ्रांको स्कुगोर की जोड़ी को मात दी। साल के पहले ग्रैंडस्लैम में बोपन्ना-बाबोस ने एक घंटे और चार मिनट के भीतर दूसरे दौर में वानिया-फ्रांको की जोड़ी को सीधे सेटों में 6-4, 6-4 से मात देकर बाहर का रास्ता दिखाया।
मिक्स्ड डबल्स के क्वार्टर फाइनल में बोपन्ना-बाबोस का सामना अमेरिका की अबिगेल स्पियर्स और कोलंबिया के जुआन सेबेस्टियन कैबाल की जोड़ी से होगा। बोपन्ना अब ऑस्ट्रेलियाई ओपन में अकेले भारतीय बचे हैं। लिएंडर पेस, पूरव राजा, दिविज शरण और खुद बोपन्ना पुरुष डबल्स के तीसरे दौर में बाहर हो गए हैं।