शोपियां (जम्मू-कश्मीर)। लोकसभा चुनाव के लिए पांचवें चरण के मतदान में कश्मीर
घाटी में वोटिंग प्रतिशत बेहद कम रहा। अनंतनाग लोकसभा सीट के शोपियां और पुलवामा जिलों में
केवल 2.81 फीसदी वोट पड़े। जम्मू-कश्मीर के इतिहास में यह सबसे कम रहा। करीब तीन साल पहले
एनकाउंटर में मार गिराए गए हिज्बुल मुजाहिदीन के पोस्टर बॉय बुरहान वानी के गांव में किसी ने भी
वोट नहीं डाला। वहीं, इसी साल फरवरी में पुलवामा में बड़े हमले को अंजाम देने वाले सूइसाइड बॉम्बर
आदिल अहमद डार के गांव में सिर्फ 15 वोट डाले गए। दक्षिण कश्मीर में दूसरे मिलिटेंट कमांडरों के
गांवों में भी कोई वोट नहीं डाला गया।
शुरुआती आकलन के मुताबिक लद्दाख में 63 फीसदी वोट पड़े। बता दें कि पहले चरण के चुनाव में
कश्मीर के वोटरों में काफी उत्साह देखने को मिला था लेकिन उसके बाद से वोटिं प्रतिशत में गिरावट
देखी जा रही है। पहले के चरणों में दक्षिण कश्मीर के बारमुला में 35 फीसदी और मध्य कश्मीर के
श्रीनगर में 14 फीसदी वोट डाले गए थे। अनंतनाग में पहले 13.63 फीसदी और फिर कुलगाम जिले में
10.3 फीसदी वोट डाले गए थे। बता दें कि जुलाई, 2016 में बुरहान वानी को सुरक्षाबलों ने एनकाउंटर में
मार गिराया था।
उग्रवाद के केंद्र शोपियां और पुलवामा में पहले ही कम वोट पड़ने की संभावना थी। हाल ही में शोपियां में
एक एनकाउंटर में 3 उग्रवादियों को ढेर कर दिया गया था और कुछ युवाओं को गिरफ्तार कर लिया गया
था। माना जा रहा है, इस कारण वोटिंग में कमी रही। सोमवार को कई जगहों से झड़पों की खबरें भी
आईं। तीन पोलिंग बूथों पर ग्रेनेड भी फेंक दिए गए। हालांकि, शोपियां, वाची और ख्रीयू के ऊंचाई पर
स्थित इलाकों में बेहतर वोटिंग देखने को मिली।
शोपियां के मनलू गांव क निवासी अब्दुल हमीद का कहना है, 'हम राज्य के स्पेशल स्टेटस को बनाए
रखने के लिए वोट करने आए है। हम ऐसा प्रतिनिधि चाहते हैं जो हमें बेहतर भविष्य देने के लिए हमारे
इतिहास को बचा सके।' पांचवें चरण के लिए 1,254 पोलिंग स्टेशन बनाए गए थे। लद्दाख के कारगिल,
जंस्कार, नुब्रा और लेह में 559 पोलिंग स्टेशनों में 1,74,618 वोटर हैं। पुलवामा और शोपियां के त्राल,
पंपोर, पुलवामा, राजपोरा, वाची और शोपियां में 695 पोलिंग स्टेशन और 5,22,530 वोटर हैं।