नई दिल्ली। नोटबंदी का साल पूरा होने के एक दिन पहले कांग्रेस और केंद्र सरकार के बीच बयानों का दौर जारी है। मनमोहन सिंह द्वारा नोटबंदी को लूट बताए जाने के बाद वित्त मंत्री अरुण जेटली ने पलटवार किया है। अरुण जेटली ने मंगलवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हुए कहा कि कालेधन के खिलाफ एक्शन एक मॉरल स्टेप था, लूट तो वो थी जो 2जी, कॉमनवेल्थ गेम्स और कोल ब्लॉक आवंटन में हुई। मनमोहन सिंह जी को बस इतना करना है कि 2014 के पहले और बाद की वैश्विक विश्वसनीयता की तुलना कर लें।
उन्होंने आगे कहा कि कांग्रेस का प्रारंभिक उद्देश्य एक परिवार की सेवा करना है और हमारा उद्देश्य देश की सेवा करना। नोटबंदी देश की अर्थव्यवस्था के इतिहास के लिए ऐतिहासिक क्षण है।
केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली ने मंगलवार को दिए एक बयान में कहा कि 8 नवंबर 2016 की तारीख को एक बेहतर दिन के तौर पर गर्व के साथ याद किया जाएगा क्योंकि इसने देश को एक साफ और इमानदार प्रणाली देने का काम किया था। उन्होंने कहा कि नोटबंदी ने अर्थव्यवस्था में नकदी की संख्या को कम करने का प्रमुख उद्देश्य पूरा किया और साल 2016 की तुलना में अब 3.89 लाख करोड़ रुपए के साथ प्रचलित नकदी की संख्या काफी कम है।
नोटबंदी के एक साल पूरे होने से ठीक एक दिन पहले वित्त मंत्री ने कहा कि नोटबंदी के बाद भारत एक साफ, पारदर्शी और ईमानदार वित्तीय व्यवस्था की ओर बढ़ा है। वहीं नोटबंदी के असर पर बोलते हुए उन्होंने कहा कि इसके कारण कश्मीर में पत्थरबाजी की घटनाओं में कमी के साथ-साथ नक्सली गतिविधियों में भी कमी देखने को मिली है।
उन्होंने कहा कि सरकार की ओर से उठाया गया यह कदम समाज के एक बड़े तबके से भ्रष्टाचार को खत्म करने और कालेधन पर अंकुश लगाने की दिशा में एक आग्रह था। जेटली ने कहा कि नवंबर, 2016 को देश को एक उचित और ईमानदार प्रणाली प्रदान करने के लिए गर्व के साथ याद रखा जाएगा।