प्रदूषित हरी सब्जियों से बीमारियां

asiakhabar.com | November 7, 2019 | 3:41 pm IST
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संयोग गुप्ता

घर के बड़े और बुजुर्ग अपने परिवार के सदस्यों से सदा हरी सब्जियों के सेवन पर जोर डालते हैं। खुदा
न खास्ता कभी अस्पताल का रुख करना पड़ जाए तो वहां भी चिकित्सक आपको हरी सब्जियां खाने की
सलाह देते मिल जाएंगे। आज के हमारे लाइफ स्टाइल के मद्देनजर हरी सब्जियों पर विस्तृत विवेचना
की जरूरत है। एक शोध के अनुसार हरी सब्जियां खाने से एक ओर जहां कैंसर जैसी बहुत सी असाध्य
बीमारियों से बचाव होता है, वहीं दिल से जुड़ी बीमारियों का खतरा भी कम होता है। इसके साथ ही हरी
सब्जियां खाने वाले लोग सब्जियां नहीं खाने वालों की तुलना में ज्यादा खुश रहते हैं। मानव को स्वस्थ
एवं निरोग रहने के लिए पोषण युक्त आहार की जरूरत होती है। इस आहार से हमें ऐसे खनिज तत्त्व,
विटामिन एवं अन्य पोषक पदार्थ मिलते हैं जो शरीर की वृद्धि के साथ-साथ उसे निरोग रखने में
सहायक होते हैं। मगर लाख टके का सवाल है पोषण युक्त हरी सब्जियां कहां मिलेंगी। जो हरी सब्जियां
आम आदमी को उपलब्ध होती हैं वे गंदे नाले अथवा गंदे पानी में उत्पन्न की जा रही हैं। यही नहीं कई
प्रकार के केमिकल मिलाकर भी हरी सब्जियां बेची जा रही हैं। सब्जियों के भाव आसमान को छू रहे हैं।
ऐसा लगता है हरी सब्जियां आम आदमी की पहुंच से दूर हो गई हैं और यदि मिल भी रही है तो वे
जहरीली हैं। इससे निरोगी होने के बजाय अनेक बीमारियों के जकड़न में फंसने की संभावना ज्यादा रहती
है। हरी और पत्तेदार सब्जियां मानव स्वास्थ्य के लिए लाभदायक होने के बजाय जानलेवा साबित हो रही
है। बच्चे से बुजुर्ग तक विभिन्न बीमारियों के दौरान चिकित्सक हरी और पत्तेदार सब्जियों को जीवनदायी
बता कर सेवन करने की सलाह देते हैं मगर यही सब्जियां अब हमारे स्वास्थ्य के लिए खतरे की घंटी
बनती जा रही हैं।
मिर्च-मसाले, दालें, अनाज और खान-पीने की वस्तुएं तो पहले ही मिलावटी मिल रही थीं। अब रही-सही
कसर प्रदूषित और खतरनाक रसायनों से युक्त हरी सब्जियों ने पूरी कर दी है। स्वस्थ व सेहतमंद रहने,
बीमारियों से बचने और वजन घटाने में हरी सब्जियों का प्रयोग किया जाता है। बाजारों में बिक रही
सब्जियों व फलों में बड़े पैमाने पर कीटनाशक का प्रयोग किया जा रहा है। जिसका मानव शरीर पर बुरा
प्रभाव पड़ रहा है। आज हर कोई हर दिन बाजार से कीटनाशक के छिड़काव वाली जहरीली सब्जियां
खरीदता है। हम अपने खाने में हर दिन किसी न किसी रूप में जहर खा रहे हैं। शुद्ध हरी सब्जियों का
मिलना आज मुश्किल हो गया है। लौकी, तुरई, पालक, फूलगोभी, पत्तागोभी आदि सब्जियों में तरह- तरह
की रासायनिक खाद के साथ ही जहरीले कीटनाशक मिला कर खुलेआम बेचा जा रहा है। हम न चाहते
हुए भी जहरीली सब्जियां खाने को मजबूर हैं। बाजारों, सड़क किनारों और ठेलों पर हमें हरी सब्जियां
देखने को मिल जाती हैं मगर हम में से अधिकांश को यह पता नहीं है कि ये सब्जियां जहरीली हैं। जो
सब्जियां हम खा रहे हैं वे प्रदूषित हैं क्योंकि आलू, बैंगन, अरबी, लाल साग, मूली, भिंडी और फूलगोभी
के भीतर छिपा बैठा है जानलेवा जहर। एक सर्वे बताता है कि देश के करोड़ों लोग ऐसे फल व सब्जियां

खा रहे हैं, जो किसी भी लिहाज से हमारे शरीर में जाने के योग्य नहीं हैं। ये फल व सब्जियां कीटनाशकों
का प्रयोग कर विकसित की जा रही हैं। दुकानदार परवल, तुरई, लौकी, भिंडी, अदरक आदि को ताजा
बनाए रखने के लिए इन्हें रसायन युक्त पानी से धोते हैं। इससे सब्जी दिखने में अधिक ताजी और हरी-
भरी दिखाई देती है। देश के अधिकांश नगरीय क्षेत्रों में गंदे पानी से सब्जियां उगाई जा रही हैं। शासन-
प्रशासन के रोकथाम के प्रयास सिरे नहीं चढ़ रहे हैं। आम आदमी इस संबंध में जागरूक नहीं है।
चमकीली सब्जियां देखते ही हम लेने के लिए ललचाते हैं और यह नहीं देखते कि ये सब्जियां हमारे
स्वास्थ्य के लिए हानिकारक हैं। मगर हमारे पास लेने के अलावा और कोई विकल्प भी नहीं है। यह
धीमा जहर है जो सब्जियों के रास्ते हमारे शरीर में पहुंचकर विभिन्न बीमारियों से हमें जोड़ता है।
सब्जियों में छिड़के जाने वाले ये केमिकल जब शरीर में प्रवेश करते हैं तो हाइपरटेंशन, डिप्रेशन, माइग्रेन,
अस्थमा और त्वचा संबंधी कई बीमारियों को जन्म देते हैं। यह भी सच है कि भागदौड़ भरी लाइफ
स्टाइल में हमें यह देखने और सोचने की फुर्सत नहीं है कि हमें क्या खाना है और क्या नहीं।


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