आर्थिक विकास के लिए भ्रष्टाचार से पूर्णतय: मुक्ति, सुशासन आवश्यक है : जावड़ेकर

asiakhabar.com | August 29, 2019 | 5:06 pm IST

विकास गुप्ता

नई दिल्ली। केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने बृहस्पतिवार को कहा कि देश में
सतत आर्थिक विकास के लिए भ्रष्टाचार से पूरी तरह मुक्त होना और सुशासन आवश्यक है। उन्होंने 60वें
‘स्कॉच’ सम्मेलन के दौरान भरोसा जताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में आगामी पांच साल में

भारत पांच हजार अरब डॉलर की अर्थव्यवस्था बन जाएगा। पर्यावरण और सूचना एवं प्रसारण मंत्री
जावड़ेकर ने कहा, ‘‘आर्थिक विकास के लिए भ्रष्टाचार से पूरी तरह मुक्ति और सुशासन आवश्यक है।
सुशासन अच्छी अर्थव्यवस्था का आधार है। किसी भी प्रकार के सतत आर्थिक विकास के लिए भ्रष्टाचार
से पूरी तरह मुक्ति और कम मुद्रास्फीति महत्वपूर्ण हैं। अब तीन-चार प्रतिशत की कम मुद्रास्फीति
वास्तविक विकास को दिखाती है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत पांच अरब
डॉलर की अर्थव्यवस्था बन जाएगा। कमजोर नीति से सतत विकास कभी नहीं हो सकता, जबकि
निर्णायक नेतृत्व अर्थव्यवस्था को वास्तविक संबल और गति प्रदान करता है। यह नेतृत्व नरेंद्र मोदी
प्रदान कर रहे हैं जिसे दुनिया भी देख सकती है।’’ उन्होंने मोदी सरकार के सुशासन का उदाहरण देते हुए
वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) पहल का जिक्र किया और कहा कि यह ‘‘सहकारी संघवाद’’ का वास्तविक
उदाहरण है। जावड़ेकर ने कहा, ‘‘पारदर्शिता लाने और कर अनुपालन को बेहतर बनाने के लिए जीएसटी
का क्रांतिकारी कदम उठाया गया। जीएसटी परिषद का गठन किया गया जो कि सहकारी संघवाद का
वास्तविक उदाहरण है। विभिन्न राज्यों के वित्त मंत्री इस परिषद में शामिल थे। अरुण जेटली के नेतृत्व
में इस परिषद में नीति संबंधी निर्णयों को लेकर कोई विवाद नहीं था।’’ मंत्री ने आर्थिक विकास के लिए
बुनियादी ढांचागत विकास और कृषि क्षेत्र में विकास पर भी जोर दिया।


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