नई, दिल्ली। निर्वाचन आयोग ने रविवार को कहा कि लोकसभा चुनाव की घोषणा के बाद से उसके सुविधा पोर्टल को 73,000 से अधिक आवेदन मिले हैं, जिनमें विभिन्न प्रचार गतिविधियों के लिए अनुमति मांगी गई है।
आयोग ने कहा कि पार्टियों और उम्मीदवारों द्वारा प्रस्तुत आवेदनों में रैली के लिए मैदान बुक करने, अस्थायी पार्टी कार्यालय खोलने और वीडियो प्रचार वैन संचालित करने जैसे अनुरोध शामिल हैं।
आयोग की ओर से कहा गया है कि पार्टियों और उम्मीदवारों के लिए समान अवसर सुनिश्चित करने के मद्देनजर 44,600 से अधिक अनुरोधों को मंजूरी दी गई है।
जारी आंकड़ों के अनुसार, प्राप्त कुल अनुरोधों में से लगभग 11,200 या 15 फीसदी को खारिज कर दिया गया और 10,819 आवेदन रद्द कर दिए गए क्योंकि वे अमान्य थे।
आयोग के मुताबिक, अधिकतम अनुरोध तमिलनाडु (23,239) से प्राप्त हुए, इसके बाद पश्चिम बंगाल (11,976) और मध्य प्रदेश (10,636) रहे।
निर्वाचन अधिकारियों ने कहा कि अब तक सबसे कम अनुरोध चंडीगढ़ (17), लक्षद्वीप (18) और मणिपुर (20) से प्राप्त हुए हैं।
सुविधा पोर्टल ने उम्मीदवारों और पार्टियों द्वारा अनुमति और सुविधाएं प्राप्त करने की प्रक्रिया को सुव्यवस्थित किया है।
इसके जरिए रैलियों के आयोजन, बुकिंग स्थलों, अस्थायी पार्टी कार्यालयों को खोलने, घर-घर अभियान चलाने, वीडियो वैन, हेलीकॉप्टर और हेलीपैड के उपयोग, वाहन परमिट और पर्चे वितरित करने की अनुमति ली जा सकती है।
निर्वाचन आयोग ने कहा कि सभी हितधारकों के लिए समावेशिता और समान अवसर सुनिश्चित करने के लिए ‘ऑफलाइन सबमिशन’ विकल्प भी उपलब्ध हैं।
आयोग ने कहा कि पोर्टल पर उपलब्ध आंकड़ा चुनाव व्यय की जांच के लिए एक मूल्यवान संसाधन के रूप में कार्य करता है।
सात चरणों में होने वाले लोकसभा चुनाव की घोषणा 16 मार्च को हुई थी और मतदान 19 अप्रैल से शुरू होगा। अंतिम चरण एक जून को है और मतों की गिनती चार जून को होगी।