यरुशलम। इजराइल की आंतरिक सुरक्षा एजेंसी (आईएसए) के प्रमुख रोनेन बार ने सात अक्टूबर को हुए हमास के क्रूर हमले रोकने में नाकामी के लिए जिम्मेदारी ली है लेकिन उन्होंने युद्ध में निर्णायक जीत के लिए आखिर तक लड़ने का संकल्प जताया है।
स्तब्ध कर देने वाले, हमास के इस अप्रत्याशित हमले में 1300 से अधिक इजराइलियों की जान जा चुकी है। हमले के बाद अपनी पहली टिप्पणी में रोनेन बार ने कहा कि आईएसए चेतावनी नहीं दे पाया।
स्थानीय मीडिया ने सोमवार को रोनेन बार को यह कहते हुए उद्धृत किया, ”पिछले शनिवार से हमने लगातार कई कार्रवाइयों को अंजाम दिया है। इसके बावजूद, हम पर्याप्त अग्रिम चेतावनी देने में दुर्भाग्य से नाकाम रहे जिसकी वजह से हमले रोके नहीं जा सके। संगठन का प्रमुख होने के नाते, इसकी जिम्मेदारी मेरी है।”
उन्होंने कहा ”जांच के लिए समय होगा। फिलहाल हम लड़ रहे हैं।”
ख़ुफिया अधिकारी ने बताया कि हमले के दिन ही उनके संगठन ने अपहृत और लापता व्यक्तियों का पता लगाने, उनकी पहचान करने और उन्हें खोजने के प्रयासों पर ध्यान केंद्रित करने के लिए इजराइल रक्षा बलों (आईडीएफ) के सहयोग से एक विशेष प्रणाली स्थापित की थी।
उन्होंने कहा कि समय तथा हालात की जरूरतों के अनुसार विभिन्न समर्पित टीमों का भी गठन किया।
रोनेन बार ने कहा कि हमारे जवानों ने बहादुरी, साहस और लड़ाई का जज्बा दिखाया। उन्होंने कहा ”दक्षिण में तैनात सेनाएं आगे बढ़ती गईं और दर्जनों आतंकवादियों का सामना किया। हमने अपने दस सर्वश्रेष्ठ लोगों को खो दिया, हममें से कई घायल हो गए और सैनिकों ने अपने रिश्तेदारों को खो दिया। वीरता की अनगिनत कहानियां सामने आई हैं, जिनमें कार्यकर्ता बिना किसी हिचकिचाहट के लड़ाई में शामिल होने का प्रयास कर रहे हैं।”
आईएसए को शिन बेट के नाम से भी जाना जाता है।
अपने खुफिया नेटवर्क के लिए दुनिया भर में प्रख्यात इजराइल अपनी प्रतिष्ठित एजेंसियों की भारी विफलता से तबाह हो गया है।
इजराइल डिफेन्स फोर्स (आईडीएफ) के चीफ ऑफ स्टाफ हरजी हलेवी ने भी पिछले हफ्ते हमले को रोकने में नाकाम रहने की जिम्मेदारी ली थी।