नई दिल्ली। भारतीय मिडफील्डर लालेंगमाविया राल्टे का मानना है अखिल भारतीय फुटबॉल महासंघ (एआईएफएफ) की अधिक अंतरराष्ट्रीय मैच खेलने की योजना से टीम को फायदा होगा लेकिन इससे खिलाड़ियों के चोटिल होने का भी खतरा रहेगा।
एआईएफएफ के अध्यक्ष कल्याण चौबे ने हाल ही में कहा था कि दोहा में जनवरी 2024 में होने वाले एशियाई कप से पहले राष्ट्रीय टीम के 20 से 25 अंतरराष्ट्रीय मैच खेलने की उम्मीद है।
राल्टे ने कहा, ”यह पहली बार है जब भारतीय टीम एक साल में इतने सारे मैच खेलेगी। इससे हमारे साथियों को मैदान पर बेहतर तालमेल बिठाने में मदद मिलेगी क्योंकि हम आमतौर पर अपने क्लबों की तुलना में राष्ट्रीय टीम के साथ कम मैच खेलते हैं।”
इस 22 साल के युवा खिलाड़ी ने एआईएफएफ से जारी विज्ञप्ति में कहा, ” फुटबॉल एक टीम खेल है, इसलिए साथ रहना महत्वपूर्ण है। उदाहरण के लिए अगर मैं छांगटे के साथ खेल रहा हूं तो मुझे यह जानने की जरूरत है कि वह किस तरह से मौका बनाना पसंद करता है और कहां गेंद चाहता है। मैं उसके साथ जितना अधिक खेलूंगा, हमारी समझ उतनी ही बेहतर होगी।”
एशियाई कप के मद्देनजर अगले सात महीने भारतीय टीम के लिए काफी अहम है। टीम भुवनेश्वर में हीरो इंटरकॉन्टिनेंटल कप (नौ से 18 जून) और बेंगलुरु में सैफ चैंपियनशिप (21 जून से चार जुलाई) के बाद इस साल के अंत में थाईलैंड में किंग्स कप और मलेशिया में मर्डेका कप में भी भाग लेगी।