गुरुग्राम। साइबर सिटी के औद्योगिक क्षेत्रों में पानी को लेकर पिछले कई साल से समस्या
आ रही है। गर्मी के दिनों में तो स्थिति काफी खराब हो जाती है। उद्योग विहार, दौलताबाद, आइडीसी, बिनौला,
बेगमपुर, कादीपुर, बसई रोड सहित अन्य औद्योगिक क्षेत्रों में पानी को लेकर समस्या हो जाती है। उद्यमियों का
कहना है कि देखने में आ रहा है कि पानी की कमी को लेकर हो रही परेशानी साल-दर-साल बढ़ती ही जा रही है।
यही कारण है कि उद्योग जगत के लोग अलगे माह प्रदेश सरकार के आने वाले बजट से उम्मीद कर रहे हैं कि
इस दिशा में कोई ठोस उपाय किए जाएंगे।
गुड़गांव चैंबर आफ कामर्स एंड इंडस्ट्री के महासचिव एसके आहूजा का कहना है कि पानी की उपलब्धता के मामले
में गुरुग्राम अब सौभाग्यशाली नहीं रहा। ऐसे में अब समय आ गया है कि गुरुग्राम में पानी की समस्या के उचित
निदान को लेकर ठोस उपाय किए जाएं। उद्यमियों की ओर से सलाह दी जा रही है कि पानी की समस्या के
समाधान को लेकर नहरी पानी से औद्योगिक क्षेत्रों को सीधे जोड़ा जाए। वहीं वाटर हार्वेस्टिग योजना और पानी की
रिसाइकिलिग को प्रोत्साहित किया जाए। आने वाले बजट में इसे लेकर उचित प्रविधान किया जाना अत्यंत
आवश्यक है।
उद्योग विहार सहित अन्य औद्योगिक क्षेत्रों के उद्यमियों का कहना है कि ठंड के मौसम में किसी न किसी प्रकार
से तो काम चल जाता है मगर गर्मी आने ही समस्या बढ़ जाती है। उद्योग विहार जैसे औद्योगिक क्षेत्र में लगभग
ढाई हजार औद्योगिक इकाइयां हैं। इनकी जरूरत के अनुसार पानी की आपूर्ति सरकारी स्तर पर नहीं हो पाती है।
ऐसे में टैंकर के पानी पर निर्भर रहना पड़ता है। टैंकर वाले मनमाने रेट पर पानी देते हैं।
औद्योगिक क्षेत्रों में पानी की आपूर्ति को लेकर प्रदेश सरकार को ठोस व्यवस्था करनी चाहिए। औद्योगिक विस्तार
विकास और निवेश को प्रोत्साहित करने में पानी की बड़ी भूमिका है। उम्मीद है कि आने वाले बजट में प्रदेश
सरकार इस दिशा में विशेष ध्यान देगी।