काबुल। समाचार एजेंसी रॉयटर के लिए काम करने वाले पुलित्जर पुरस्कार विजेता भारतीय
फोटो पत्रकार दानिश सिद्दीकी अफगानिस्तान में लड़ाई की कवरेज करने के दौरान मारे गए। घटना के वक्त वह
अफगान बलों और तालिबान के आतंकवादियों के बीच कंधार में हो रही भीषण लड़ाई की कवरेज कर रहे थे। भारत
में अफगानिस्तान के राजदूत फरीद मामुनदाजे ने शुक्रवार को ट्वीट किया, ‘‘बीती रात (बृहस्पतिवार) कंधार में मेरे
मित्र दानिश सिद्दीकी के मारे जाने की खबर सुनकर बहुत दुख पहुंचा। पुलित्जर पुरस्कार विजेता भारतीय पत्रकार
अफगान सुरक्षा बलों के साथ वहां पर थे।’’ मामुनदाजे ने कहा, ‘‘दो हफ्ते पहले उनके काबुल के लिए प्रस्थान करने
से पहले मेरी उनसे मुलाकात हुई थी। उनके परिवार एवं रॉयटर के प्रति संवदेनाएं।’’ सिद्दीकी की उम्र 40 से 45
वर्ष के बीच थी। ‘तोलो न्यूज’ ने सूत्रों के हवाले से बताया कि कंधार के स्पिन बोलदाक जिले में झड़पों के दौरान
वह मारे गए। वह बीते कुछ दिनों से कंधार में हालात की कवरेज कर रहे थे। सिद्दीकी मुंबई के रहने वाले थे। उन्हें
रॉयटर के फोटोग्राफी स्टाफ के सदस्य के तौर पर पुलित्जर पुरस्कार मिला था। उन्होंने दिल्ली के जामिया मिल्लिया
इस्लामिया से अर्थशास्त्र में स्नातक किया था और 2007 में जामिया के एजेके मास कम्युनिकेशन रिसर्च सेंटर से
मास कम्युनिकेशन का अध्ययन किया था। वह 2010 में रॉयटर से जुड़े थे। तालिबान ने इस हफ्ते कंधार के स्पिन
बोलदाक जिले पर कब्जा कर लिया है। बीते कुछ दिनों से यहां पर भीषण लड़ाई चल रही है। देश से अमेरिकी
सैनिकों की वापसी के बीच सरकार और तालिबान लड़ाकों के बीच लड़ाई तेज हो गई है।