ईशांत गुप्ता
नई दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने चाय बागानों के कामगारों के लिये कोविड-19 महामारी की
वजह से देश में लागू लॉकडाउन की अवधि का पारिश्रमिक और राशन तत्काल दिलाने के लिये दायर दाचिका पर
बुधवार को असम सरकार से जवाब मांगा। प्रधान न्यायाधीश एस ए बोबडे और न्यायमूर्ति एल नागेश्वर राव की
पीठ ने वीडियो कांफ्रेन्सिग के माध्यम से इस मामले की सुनवाई की और राज्य सरकार को दस दिन के भीतर
जवाब देने का निर्देश दिया। इस मामले में इसके बाद सुनवाई की जायेगी। यह याचिका असम संग्रामी चाह श्रमिक
संघ ने दायर की है। इसमें असम सरकार को प्रवासी कामगारों के पारिश्रमिक का भुगतान करने संबंधी गृह मंत्रालय
के 29 मार्च के निर्देश पर सख्ती से अमल करने का निर्देश देने का अनुरोध किया गया है। इस संगठन ने अपनी
याचिका में कहा है कि असम सरकार के चाय आदिवासी कल्याण विभाग की वेबसाइट के अनुसार राज्य में 803
चाय बागान हैं जिनमें करीब दस लाख चाय बागान श्रमिक काम करते हैं। याचिकाकर्ता संगठन की ओर से वरिष्ठ
अधिवक्ता कोलिन गोन्साल्विज ने कहा कि लॉकडाउन की वजह से पारिश्रमिक नहीं मिलने के कारण असम में चाय
बागानों के श्रमिकों की स्थिति बहुत ही खराब है। राज्य के अनेक चाय बागानों में काम करने वाले श्रमिकों को
लॉकडाउन की अवधि का पारिश्रमिक नहीं दिया गया है।